वैदिक शिक्षा के स्वर्णिमयुग का उद्घोष:डॉ कल्ला

राज्य में बालिकाओं द्वारा पहली बार सस्वर सामूहिक वेदपाठ
जयपुर,5 मई । बालिकाओं द्वारा प्रथम बार सस्वर सामूहिक वेद पाठ वैदिक शिक्षा ही नहीं अपितु संपूर्ण शिक्षा जगत में एक स्वर्णिम युग का उद्घोष है। वेद भारत की आत्मा है और उसकी आत्मा में शांति, अहिंसा और सद्भाव सहिष्णुता बसती है । यह वेद ही है ,जो मानव ही नहीं अपितु पशु, पक्षी, वनस्पति,कीट और कण-कण के कल्याण और शांति की कामना करते है । यह हमारे संस्कार है, जहां कन्या को दैवीय स्वरूप में पूजा जाता है, उसके चरण पखारे जाते हैं । बालिकाओं को वैदिक शिक्षा दिये जाने से ही परिवार, समाज और राष्ट्र का चारित्रिक ,भौतिक और आध्यामिक उत्थान होगा । ये बात राजस्थान संस्कृत अकादमी के राज्य स्तरीय पुरस्कार -सम्मान समारोह में राज्य के शिक्षा, कला एवं संस्कृति मंत्री डॉ. बी. डी कल्ला ने कही । कला ने कहा की वैदिक संध्या और स्वाध्याय मन, कर्म और वचन को पवित्र करने के साथ व्यक्तित्व को दिव्य और भव्य बनाती है ।
कार्यक्रम की अध्यक्षता करते हुए अकादमी अध्यक्ष डॉ सरोज कोचर ने अपने उद्बोधन में कहा कि संस्कृत की सार्थकता उसे शिक्षा के साथ उसको रोजगारोन्मुखी बनाया जाना है । अकादमी इस दिशा में गंभीर प्रयास कर रही हैं । इसके साथ ही अकादमी सवा लाख दुर्लभ पांडुलिपियों को सूचीबद्ध और डिजिटलाइज करने जा रही है । इस अवसर पर डॉ मंडल मिश्र सम्मान से सम्मानित प्रोफेसर वैद्य बनवारी लाल गौड़ ने 'आयुर्वेदीय कथाष्टकं' और महाकवि माघ पुरस्कार से सम्मानित प्रोफेसर प्रमोद कुमार शर्मा ने 'गोपांगनावैभवम' का अंश पाठ किया ।
बालिकाओं के चरण पूजन के बाद वेद पाठ पर पुष्पवर्षा
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इस अवसर पर राज्य के प्रथम बालिका वेद आश्रम श्रीमती मोहरी देवी तापड़िया बालिका वेदाश्रम की 14 बालिकाएं सामूहिक वेद पाठ के लिए उपस्थित हुई थी । वेद पाठ से पूर्व कला एवं संस्कृति मंत्री डॉ. बी. डी कल्ला ने उनके चरणों का प्रक्षालन किया ,अकादमी अध्यक्ष डॉ सरोज कोचर ने तिलक किया और अतिथियों सहित उपस्थित विद्वानों द्वारा वेदपाठ के दौरान बालिकाओं पर पुष्प वर्षा की गई ।
ये विद्वान हुए सम्मानित
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इस अवसर पर राष्ट्रपति सम्मानित विद्वान डॉ नारायण शास्त्री को मरणोपरांत डॉ. मंडन मिश्र पुरस्कार,प्रो. कुलदीप शर्मा को नवोदित पुरस्कार, डॉ अंजना शर्मा को संस्कृत विदुषी सम्मान, डॉ रामेश्वर दयाल शर्मा को जगन्नाथ सम्राट ज्योतिष सम्मान, डॉ राकेश शास्त्री को पंडित गिरिधर शर्मा चतुर्वेदी दर्शन सम्मान, डॉ. शंभू नाथ मिश्र को वेद सम्मान, प्रो आनंद पुरोहित को धर्मशास्त्र सम्मान ,प्रो.ताराशंकर पांडेय को पंडित मथुरा नाथ शास्त्री सम्मान और अनुपमा रजोरिया को संस्कृत कौस्तुभ सम्मान प्रदान किया गया ।
इनको मिला वैदिक सम्मान
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श्रेष्ठ वेदाश्रम- विद्यार्थी पुरस्कार -प्रशस्ति योजना के अंतर्गत
संस्थाओं में श्री कल्लाजी वेद पीठ एवं शोध संस्थान, निंबाहेड़ा को पंडित नवल किशोर कांकर वेद- वेदांग पुरस्कार, श्री नरवर आश्रम सेवा समिति, खोले के हनुमान जी को भारती मिश्रा पुरस्कार, ब्रह्म ज्ञान संस्कृत शिक्षा परमार्थ सेवा संस्थान, घाटारानी, भीलवाड़ा के छात्र गोविंद शर्मा और शिव प्रकाश शर्मा को बिहारी पुरस्कार और मोहरी देवी तापड़िया वेद विद्यालय जसवंतगढ़ के छात्र मंजीत शर्मा को को पंडित पन्नालाल जोशी पुरस्कार दिया गया ।